पहले इसे नई दिल्ली-भोपाल चलाने का प्रस्ताव था...
लखनऊ: देश की सबसे तेज गति से दौड़ने वाली स्वदेश निर्मित ट्रेन वंदे भारत एक्सप्रेस का तोहफा राजधानी वासियों को भी मिल सकता है। रेलवे बोर्ड ने लखनऊ से नई दिल्ली के बीच यह ट्रेन चलाने के लिए मंथन शुरू कर दिया है। बोर्ड ने उत्तर रेलवे और उत्तर मध्य रेलवे से ट्रेन के टाइम टेबल और इसके संचालन की संभावनाओं का प्रस्ताव मांगा है।
पिछले दिनों दोनों ही जोनल के अधिकारियों के साथ रेलवे बोर्ड में नई दिल्ली-कानपुर-लखनऊ रूट पर वंदे भारत एक्सप्रेस को चलाने के लिए एक बैठक भी हुई। ट्रेन को सुबह लखनऊ से नई दिल्ली और शाम को नई दिल्ली से चलाने की तैयारी की जा रही है। बोर्ड इस रूट पर प्रस्तावित तेजस एक्सप्रेस की जगह वंदे भारत एक्सप्रेस को चलाना चाहता है।
लखनऊ निवासी एस. मणि की टीम ने रेल कोच फैक्ट्री चेन्नई में बिना इंजन वाली सेमी हाई स्पीड ट्रेन 18 को तैयार किया था। बाद में ट्रेन 18 का नाम वंदे भारत एक्सप्रेस रखा गया। यह ट्रेन 220 किलोमीटर प्रति घंटे की गति से दौड़ने में सक्षम है।
पहली वंदे भारत एक्सप्रेस नई दिल्ली से प्रयागराज होते हुए वाराणसी तक 15 फरवरी से शुरू हुई थी। टेन का नया रैक उत्तर रेलवे जोन को आवंटित किया गया है। उत्तर रेलवे तीन प्रमुख रूटों पर इसे चलाने पर विचार कर रहा है। एक रूट नई दिल्ली-ग्वालियर-भोपाल वहीँ दूसरा रूट नई दिल्ली से चंडीगढ़ के बीच का है। जबकि तीसरे रूट नई दिल्ली से लखनऊ के बीच वंदे भारत को चलाने की संभावनाएं तलाशी जा रही हैं। रेलवे बोर्ड के एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक लखनऊ से कानपुर के बीच तो वंदे भारत एक्सप्रेस की गति कम रहेगी। कानपुर से नई दिल्ली के बीच यह ट्रेन 130 किलोमीटर प्रतिघंटे की गति से दौड़ेगी।
लोकसभा चुनाव से पहले रेल मंत्री ने हबीबगंज -नई दिल्ली शताब्दी के स्थान पर इसे चलाने की घोषणा की थी, लेकिन रेलवे का उत्तर प्रदेश के प्रति लगाव के कारण पहले की तरह इसे भी उत्तर प्रदेश की राजधानी के बीच चलाने का मन बना रहा है। ज्ञात हो कि उत्तर रेलवे ने तो T-18 के पहले रेक को भी भोपाल से चलाने की तैयारी की थी और आगरा-दिल्ली के बीच कई बार सफर परीक्षण भी किया गया। लेकिन अंतिम समय इस वाराणसी - दिल्ली चला दिया गया|